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आरबीआई रिपोर्ट ने खोला लंबी जिंदगी का राज राज्य में कदम रखते ही बढ़ने लगती है उम्र!

rbi
ब्लिट्ज ब्यूरो

लखनऊ। कहा जाता है कि जिंदगी की असली पहचान उसके गुजरते सालों से नहीं बल्कि जीने की सेहतमंद वजहों से होती है। आज देश के कई बड़े राज्यों में जहरीली हवा, दूषित पानी और बिगड़ती जीवनशैली लोगों की औसत आयु को लगातार कम कर रही है। ऐसे समय में उत्तर प्रदेश से एक सकारात्मक तस्वीर सामने आई है जहां बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं, सरकारी योजनाओं और बढ़ती जागरूकता ने लोगों की औसत आयु को नई दिशा और नई रफ्तार दी है।
आरबीआई रिपोर्ट का बड़ा खुलासा
भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के अनुसार वर्ष 2019 से 2023 के बीच देश के अलग-अलग राज्यों में औसत आयु में उल्लेखनीय उतार-चढ़ाव देखने को मिला है। वायु प्रदूषण और पर्यावरणीय संकट के चलते दिल्ली, पंजाब और हरियाणा जैसे राज्यों में लोगों की औसत आयु में गिरावट आई है जबकि उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और बिहार में सुधार दर्ज किया गया है।
दिल्ली-पंजाब में सेहत पर सबसे बड़ा असर
रिपोर्ट के मुताबिक, वायु प्रदूषण के कारण दिल्ली में बीते चार वर्षों में औसत आयु 1.7 साल घट गई है वहीं, पंजाब इस सूची में सबसे ऊपर है जहां हालात और भी गंभीर बताए गए हैं। पंजाब में लोगों की औसत आयु में करीब 2 साल की गिरावट दर्ज की गई है। हरियाणा में भी औसत आयु 1.1 साल कम हुई है जो पर्यावरण और जीवनशैली से जुड़े खतरे को साफ दर्शाता है।
यूपी बना सकारात्मक बदलाव की मिसाल
आरबीआई रिपोर्ट में उत्तर प्रदेश को खास तौर पर राहत भरी खबर मिली है। बेहतर स्वास्थ्य सेवाओं, सरकारी योजनाओं और जीवनशैली में धीरे-धीरे हो रहे सुधार के चलते यूपी में लोगों की औसत आयु में 2.4 साल की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। यह बढ़ोतरी देश के कई बड़े राज्यों की तुलना में कहीं अधिक है जो बताती है कि सही नीतियों और स्वास्थ्य ढांचे से बड़े बदलाव संभव हैं।
उत्तर प्रदेश में कैसे बढ़ी औसत आयु?
खबरों के अनुसार, उत्तर प्रदेश में आयुष्मान भारत योजना, प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों का विस्तार, मातृ-शिशु स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार और टीकाकरण अभियानों का सीधा असर लोगों के जीवन पर पड़ा है। इसके साथ ही स्वच्छता अभियान और पोषण कार्यक्रमों ने भी लोगों के जीवन पर गहरा असर डाला है।

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