ब्लिट्ज ब्यूरो
नई दिल्ली। यूजीसी की हाल ही में हुई बैठक में एडीपी (एक्सल रेटेड डिग्री प्रोग्राम) और ईडीपी (एक्सटेंडेड डिग्री प्रोग्राम) के लिए एसओपी को मंजूरी दे दी है। यानी स्टूडेंट को अब तीन या चार साल की ग्रेजुएशन को कम समय में पूरा करने या कोर्स की अवधि बढ़ाने का ऑप्शन मिलेगा। यूजीसी अध्यक्ष प्रो. एम. जगदीश कुमार ने कहा कि नेशनल क्रेडिट फ्रेमवर्क (एनसीआरएफ) उच्च शिक्षा को अधिक लचीला बनाता है और छात्रों को अपनी जरूरतों के अनुसार अध्ययन अवधि तय करने की इजाजत देता है। यूनिवर्सिटीज को इन दोनों नए नियमों के लिए छात्रों की एलिजिबिलिटी का मूल्यांकन करने के लिए कमेटी बनानी होंगी। एडीपी और ईडीपी की समान वैल्यू होगी। कोर्स कंटेंट और क्रेडिट की शर्तों में कोई बदलाव नहीं होगा। परीक्षा और मूल्यांकन की प्रक्रिया में कोई बदलाव नहीं होगा।
एडीपी के तहत कैसे होगी ग्रेजुएशन
एडीपी के तहत छात्र प्रति सेमेस्टर अतिरिक्त क्रेडिट हासिल कर तीन या चार साल के ग्रेजुएशन कोर्स को क्रमशः ढाई और तीन या साढ़े तीन साल में पूरा कर सकते हैं। यह विकल्प पहले या दूसरे सेमेस्टर के बाद चुनने का मौका मिलेगा। सिर्फ 10% छात्रों को एडीपी के तहत चुना जाएगा।
ईडीपी में कैसे बढ़ेगा समय
जो छात्र अपनी डिग्री अधिक समय में पूरी करना चाहते है, वे ईडीपी का विकल्प चुन सकते हैं। वे अधिकतम दो सेमेस्टर तक इसे बढ़ा सकते हैं। इस प्रोग्राम के तहत तीन साल की डिग्री को अधिकतम चार साल और चार साल की डिग्री को पांच साल में पूरा किया जा सकता है।