ब्लिट्ज ब्यूरो
नई दिल्ली। भारतीय नौसेना को चार बड़े सर्वेक्षण पोतों (एसवीएल) में से तीसरा पोत ‘इक्षक’ मिला। यह युद्धपोत डिजाइन ब्यूरो की ओर से संचालित 102वां जहाज है। इस श्रेणी का पहला जहाज आईएनएस ‘संध्याक’ फरवरी 2024 और दूसरा आईएनएस ‘निर्देशक’ दिसंबर 2024 में कमीशन किया गया था।
चार सर्वेक्षण पोत जहाजों के लिए अनुबंध पर अक्टूबर 2018 में हस्ताक्षर किए गए थे। अधिकारियों ने बताया कि ‘इक्षक’ पहला एसवीएल जहाज है, जिसमें महिला अधिकारियों और नाविकों के लिए आवास की व्यवस्था है। रक्षा मंत्रालय ने बताया कि जहाज का उद्देश्य बंदरगाह या बंदरगाह के रास्तों के पूर्ण पैमाने पर तटीय और गहरे पानी का सर्वेक्षण और नौवहन चैनलों या मार्गों का निर्धारण करना है। जहाज रक्षा और नागरिक अनुप्रयोगों के लिए समुद्र विज्ञान और भूभौतिकीय डाटा भी एकत्र करेगा।
3,400 टन विस्थापन और
110 मीटर की लंबाई
मंत्रालय ने कहा, ‘इक्षक’ (यार्ड 3027) गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स (जीआरएसई), कोलकाता में निर्मित है और युद्धपोत निरीक्षण दल (कोलकाता) ने देखरेख की । एसवीएल जहाजों को गार्डन रीच शिपबिल्डर्स एंड इंजीनियर्स (जीआरएसई), कोलकाता ने भारतीय शिपिंग रजिस्टर के वर्गीकरण नियमों के अनुसार डिजाइन और बनाया है। 3,400 टन विस्थापन और 110 मीटर की लंबाई वाला यह युद्घपोत अत्याधुनिक हाइड्रोग्राफिक उपकरणों से सुसज्जित है जैसे-डाटा अधिग्रहण और प्रसंस्करण प्रणाली, स्वायत्त पानी के नीचे वाहन, दूर से संचालित वाहन, डीजीपीएस लंबी दूरी की पोजिशनिंग सिस्टम, डिजिटल साइड स्कैन सोनार आदि।