ब्लिट्ज ब्यूरो
नई दिल्ली। खुदरा महंगाई दर अगस्त में मामूली बढ़कर 3.65 फीसदी रही। यह भारतीय रिजर्व बैंक के चार फीसदी के लक्ष्य के दायरे में है। उपभोक्ता मूल्य सूचकांक पर आधारित खुदरा महंगाई दर जुलाई, 2024 में 3.6 फीसदी थी। अगस्त में खुदरा महंगाई दर का पिछले पांच साल में दूसरा सबसे निचला स्तर है। बीते वर्ष अगस्त में यह 6.83 फीसदी थी। अगस्त में ग्रामीण इलाकों में महंगाई दर 4.16 फीसदी और शहरी इलाकों में 3.14 फीसदी रही। वहीं, इंडस्टि्रयल प्रोडक्शन ग्रोथ जुलाई में सुस्त पड़कर 4.8 फीसदी रह गई।
खाने-पीने की वस्तुओं ने मामूली बढ़ाई महंगाई
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) के अनुसार, खाद्य वस्तुओं की महंगाई अगस्त में मामूली बढ़कर 5.66 फीसदी रही जो जुलाई में 5.42 फीसदी थी। सरकार ने रिजर्व बैंक को खुदरा महंगाई दर दो फीसदी घटबढ़ के साथ चार फीसदी पर रखने की जिम्मेदारी मिली हुई है। वहीं, इस साल जुलाई में माइनिंग और मैन्यूफैक्चरिंग क्षेत्रों के खराब प्रदर्शन की वजह से देश की औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) की ग्रोथ सुस्त पड़कर 4.8 फीसदी पर आ गई। एनएसओ के आंकड़ों से इसका पता चलता है। औद्योगिक उत्पादन सूचकांक के संदर्भ में मापा जाने वाला कारखाना उत्पादन जुलाई, 2023 में 6.2 फीसदी बढ़ा था।
आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, इस साल जुलाई में देश का औद्योगिक उत्पादन सूचकांक 4.8 फीसदी बढ़ा था। आंकड़ों से पता चलता है कि मैन्यूफैक्चरिंग क्षेत्र का उत्पादन जुलाई में 4.6 फीसदी बढ़ा जबकि एक साल पहले इसी महीने में यह 5.3 फीसदी बढ़ा था।
माइनिंग क्षेत्र की ग्रोथ जुलाई, 2024 में 3.7 फीसदी रही। वहीं, बिजली उत्पादन में 7.9 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई। चालू वित्त वर्ष के पहले चार महीनों (अप्रैल-जुलाई) में देश का औद्योगिक उत्पादन 5.2 फीसदी की दर से बढ़ा है जबकि एक साल पहले की समान अवधि में यह 5.1 फीसदी बढ़ा था।